भाज्य और अभाज्य संख्या किसे कहते हैं ?
भाज्य और अभाज्य का नाम सुनते ही बहुत से छात्र - छात्राओं को गणित में बोरियत महसूस होने लगता है। कारण है तो जानकारी का अभाव। चलिए जानते हैं >>
भाज्य संख्या
1 से बड़ी वे प्राकृतिक संख्याएँ जो 1 और स्वयं को छोड़कर किसी अन्य संख्या से (बिना दशमलव के) विभाजित हो जाये भाज्य संख्या कहलाती है।जैसे : 4, 6, 8, 9, 10, 12, 14, 15, 16, 18, 20 इत्यादि भाज्य संख्याएँ हैं। इन सभी संख्याओं में 1 और स्वयं के अलावा किसी तिसरी संख्या से पुरी - पुरी विभाजित या कट रही हैं। 4 = 1 × 2 × 2
6 = 1 × 2 × 3
8 = 1 × 2 × 4
जैसे : 4, 1 और 4 के अलावा 2 से पुरी तरह से विभाजित या कट रही है। अतः 4 एक भाज्य संंख्या है। इसी तरह 6 ,2 और 3 से विभाजित हो रही है। अतः 6 भी एक भाज्य संख्या है। इसी तरह हम बाकि सभी भाज्य संख्याओं का पता कर सकते हैं। यहाँ हम देख रहे हैं कि जो भी भाज्य संख्या है उसका ( 1 और स्वयं के अलावा ) कुछ न कुछ गुणनखंड जरूर होता है। इस आधार पर हम यह कह सकते हैं कि " वे सभी संख्याएँ जिनका 1 और स्वयं के अलावा कोई गुणनखंड हो तो उन्हें भाज्य संख्या कहते हैं। "
अभाज्य संख्या
एक ( 1 ) से बड़ी वे प्राकृतिक संख्याएँ जो 1 और स्वयं को छोड़कर किसी अन्य संख्या से विभाजित न हो अभाज्य संख्या कहलाती है।
वे संख्याएँ जिनका गुणनखंड अथवा पूर्ण गुणनखंड न हो ( 1 और स्वयं को छोड़कर) या नहीं किया जा सकता है उन्हें अभाज्य संख्या कहते हैं।
जैसे : 2, 3, 5, 7, 11, 13, 17, 19, 23, 29, 31 इत्यादि अभाज्य संख्याएँ हैं। इन सभी संख्याओं का गुणनखंड क्रमशः है -
2 = 1 × 2
3 = 1 × 3
5 = 1 × 5
7 = 1 × 7 इत्यादि ।
हम देख रहे हैं कि इनका गुणनखंड 1 और स्वयं के अलावा कोई अन्य संख्या नहीं है अतः ये सभी संख्याएँ अभाज्य हैं।
अभाज्य गुणनखंड : ऐसा गुणनखंड जिसमें केवल अभाज्य संख्याएँ शामिल हों अभाज्य गुणनखंड कहलाता है।
उदाहरण :
- 2 × 3
- 5 × 7
- 11 × 13
- 17 × 19
- 23 × 29
- 31 × 37
- 2 × 3 × 7
- 11 × 13 × 19
- 2 × 17 × 23 × 29
ये सभी अभाज्य गुणनखंड हैं क्योंकि इनमें अभाज्य संख्याओं का गुणा है इसलिए इन्हें अभाज्य गुणनखंड कहते हैं।
अभाज्य संख्याओं के उपयोग
अभाज्य संख्याओं का उपयोग बहुत सारे सवालों में किया जाता है। जैसे : लघुत्तम समापवर्त्य और महत्तम समापवर्तक निकालने के लिए हमें अभाज्य गुणनखंड में बदलना होता है।
उदाहरण : 8 और 12 का म.स. निकालना।
नियम के अनुसार सबसे पहले हमें 8 और 12 का अभाज्य गुणनखंड करना होगा। 8 और 12 का अभाज्य गुणनखंड
8 = 2 × 2 × 2
12 = 2 × 2 × 3
विशेष :
- एक ( 1) न तो भाज्य संख्या है और न ही अभाज्य संख्या है।
- दो ( 2 ) एकलौती सम अभाज्य संख्या है।
- दो (2) पहली अभाज्य संख्या है और अंतिम अभाज्य संख्या पता नहीं की जा सकती है।
- चार (4) पहली भाज्य संख्या है और अंतिम अभाज्य संख्या पता नहीं की जा सकती है।
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