किसी भी संख्या पर यदि शून्य यानी जीरो घात हो जाये तो उसका मान क्यों " 1" हो जाता है ? और क्यों घात शून्य हो जाती है। ये सवाल अगर आपके मन में उठा है तो आज आपको इसका उत्तर मिल जायेगा। सबसे पहले आपको बता दें कि आप ये जानकारी possibilityplus. in पर पढ़ रहे हैं जहाँ आपको गणित से विज्ञान तक की जानकारियाँ मिलेंगी। इसलिए आप हमारे चैनल को अभी subscribe करें। धन्यवाद!
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किसी भी संख्या की घात शून्य कैसे होती है ?
गणित में घातांक की जानकारी होना बहुत जरूरी है। अगर आपको लगता है कि आप घातांक के सवाल नहीं हल कर पाते या नहीं जानते हैं तो आपके लिए यह एक शानदार जानकारी सिध्द होगी।
तो चलो पहले हम घातांक के बारे में जान लेते हैं। घातांक के नियम निम्नलिखित हैं -
या अधिक संख्याओं का आधार अगर एक समान या बराबर है और उनका आपस में गुणा हो तो उनके घातांक सदैव जुड़ेंगे और भाग में अन्तर होग। जैसे - मान लिजिए 4 का 4 में गुणा करना है तो हम इसे इस 4 × 4 तरह लिखेंगे। अब इसमें 4 ( चार ) आधार है और इनके घातांक एक - एक है। घातांक के नियमानुसार जब दो समान आधार वाली संख्याओं का आपस में गुणा किया जाता है तो उनके घातांको को जोड़ा जा सकता है। निचे चित्र में देखिए।
- जहाँ A = 1, 2, 3, 4, 5 कोई भी संख्या रख सकते हैं चित्र में आप देख रहे हैं कि A आधार और x , y घातांक हैं।
- यदि गुणा के स्थान पर भाग हो ( किसी भी समान आधार वाली संख्या में ) तो भाग देने वाली संख्या की घात घट " - " जाती है। निचे चित्र में देखें।
- भिन्न प्रकार की यानी अलग - अलग आधार वाली संख्याओं की घातो को जोड़ा और घटाया नहीं जा सकता है। जैसे - अगर 4 और 5 या कोई भी संख्या हो जो अलग - अलग आधार वाली हों पर हमनें यहाँ पर दो अलग - अलग संख्याओं को ( 4 और 5 ) को लिया है के घातांकों को जोड़ नहीं सकतें हैं।
- किसी भी संख्या पर घात शून्य हो तो उसका मान 1 ( एक ) पर होता है। जैसे - मान लिया संख्या - 1, 2, 3, 4, 5 इत्यादि पर अगर घातांक शून्य हो जाये तो इनका पूरा मान 1 (एक ) होगा। निचे चित्र में देखिए।
इसी प्रकार कोई भी संख्या हो जिसकी घात शून्य है तो उसका मान 1 ( एक ) होगा।
घातांक शून्य ऐसे होता है
मान लिजिए अगर हम 4 और 5 का गुणा करते हैं तो इन दोनों की घातों 1 हैं। जब किसी संख्या की घात ना लिखी गई हो तो उसकी घात सदैव " 1" होती है। अब चूँकि 4 और और 5 अलग अलग संख्याएँ या अलग आधार हैं तो इनका गुणा करने पर इनकी घातों को जोड़ा नहीं जा सकता है। इसीलिए किसी भी अलग आधार वाली संख्याओं की भाग करने पर इनका घातांक शून्य नहीं होता है। पर जब समान आधार वाली भागे हो या भाजक और भाज्य दोनों एकही हो तो परिणामी घातांक शून्य हो जाता है।
उदाहरण : 4 ÷ 4 या 41 ÷ 4 1 = 40
41 ÷ 41 = 41 × 41 = 4 1-1 = 40
तो इस तरह जब कोई भी एकसमान संख्या या एकसमान मान हों तो उनकी घातें शून्य हो जाती है।
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3 टिप्पणियाँ
Ghataank shunya kaise hota hai samajh nahin aaya
जवाब देंहटाएंकिसी भी संख्या से अपनी ही संख्या में भाग किया जाए तो ऐसी भाग को हम घातांक में अगर व्यक्त करे तो घातांक शून्य होगा।
हटाएंHa
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